16 फरवरी 2025 का पंचांग: तिथि, नक्षत्र, योग, राहुकाल और शुभ मुहूर्त संकष्टी गणेश चतुर्थी व्रत

आज का दिन और तिथि
- दिन: रविवार
- पक्ष: फाल्गुन कृष्ण पक्ष
- सूर्योदय: प्रातः 6:24 बजे
- सूर्यास्त: सायं 5:36 बजे
रविवार का दिन सूर्य देव को समर्पित होता है। इस दिन सूर्य उपासना, व्रत और दान करने से मान-सम्मान में वृद्धि होती है।
तिथि एवं नक्षत्र
- आज की तिथि: चतुर्थी (रात्रि 12:09 तक)
- अगली तिथि: पंचमी (रात्रि 12:09 के बाद)
- आज का नक्षत्र: हस्त (रात्रि 2:46 तक)
- अगला नक्षत्र: चित्रा (रात्रि 2:46 के बाद)
तिथि का महत्व
चतुर्थी तिथि विशेष रूप से भगवान गणेश को समर्पित होती है। यह व्रत विध्नहर्ता श्री गणेश की कृपा प्राप्त करने और जीवन से बाधाओं को दूर करने के लिए किया जाता है।
नक्षत्र का प्रभाव
✅ हस्त नक्षत्र: व्यापार, कारीगरी, चिकित्सा और शिक्षा से जुड़े कार्यों के लिए शुभ माना जाता है।
✅ चित्रा नक्षत्र: यह नक्षत्र कला, सौंदर्य, और रचनात्मक कार्यों में सफलता दिलाने वाला होता है।
चंद्रमा और ग्रहों की स्थिति
- चंद्रमा: कन्या राशि में
- सूर्य: कुंभ राशि में धनिष्ठा नक्षत्र में स्थित
चंद्रमा का प्रभाव
कन्या राशि में चंद्रमा होने से व्यावहारिकता, अनुशासन और योजनाबद्ध कार्य करने की प्रवृत्ति बढ़ती है।
ग्रहों का प्रभाव
कुंभ राशि में स्थित सूर्य धनिष्ठा नक्षत्र में होने से समाज में प्रतिष्ठा बढ़ाने और आर्थिक उन्नति के अवसर प्राप्त हो सकते हैं।
आज के विशेष योग एवं मुहूर्त
- धृति योग समाप्ति: सुबह 7:00
- शूल योग प्रारंभ: सुबह 7:00 के बाद
- सर्वार्थ सिद्धि योग: प्रातः 6:24 से रात्रि 2:46 तक
- अमृत सिद्धि योग: प्रातः 6:24 से रात्रि 2:46 तक
योगों का प्रभाव
- धृति योग: मानसिक स्थिरता और सकारात्मक ऊर्जा प्रदान करता है।
- शूल योग: व्यापार और वित्तीय निर्णयों में सतर्कता बरतने की आवश्यकता होती है।
- सर्वार्थ सिद्धि योग: सभी प्रकार के कार्यों में सफलता दिलाने वाला शुभ योग।
- अमृत सिद्धि योग: महत्वपूर्ण कार्यों, निवेश और नई योजनाओं की शुरुआत के लिए उत्तम समय।
राहु काल, यमघंटक काल और गुलिक काल
- राहु काल: शाम 4:12 से 5:36 तक
- यमघंटक काल: दोपहर 12:00 से 1:24 तक
- गुलिक काल: दोपहर 2:48 से शाम 4:12 तक
राहु काल में कार्य न करें
राहु काल के दौरान कोई भी शुभ कार्य न करें, क्योंकि इस समय नकारात्मक ऊर्जा प्रभावी रहती है।
यमघंटक काल का प्रभाव
यह समय अशुभ माना जाता है, इस दौरान यात्रा या नया कार्य प्रारंभ करने से बचें।
गुलिक काल का महत्व
गुलिक काल शुभ माना जाता है, यदि इस समय कोई कार्य प्रारंभ किया जाए तो उसमें सफलता मिलने की संभावना अधिक होती है।
आज के शुभ मुहूर्त
- अभिजीत मुहूर्त: सुबह 11:37 से दोपहर 12:22 तक
- मुकदमा या पक्ष रखने का शुभ मुहूर्त: रात्रि 12:09 से 2:46 तक
यदि आप किसी कानूनी मामले में अपना पक्ष प्रस्तुत करना चाहते हैं तो इस समय का उपयोग करें।
संकष्टी चतुर्थी व्रत का महत्व
आज फाल्गुन कृष्ण पक्ष की संकष्टी श्री गणेश चतुर्थी व्रत है। इस दिन भगवान गणेश की पूजा कर व्रत रखने से संकटों से मुक्ति मिलती है।
- चंद्रोदय समय: रात्रि 9:12
- व्रत करने वाले व्यक्ति को चंद्रोदय के बाद अर्घ्य देकर ही भोजन ग्रहण करना चाहिए।
- गणेश मंत्र: “ॐ गं गणपतये नमः” का 108 बार जाप करने से शुभ फल प्राप्त होंगे।
ज्योतिषीय उपाय और शुभ कार्य
शुभ फल प्राप्त करने के लिए
- सूर्य देव को अर्घ्य दें और आदित्य हृदय स्तोत्र का पाठ करें।
- संकष्टी चतुर्थी के दिन गणेश जी को दुर्वा, मोदक और लाल वस्त्र अर्पित करें।
व्यापार और आर्थिक वृद्धि के लिए
- गणपति मंदिर में जाकर भगवान गणेश का पूजन करें।
- पीपल के पेड़ के नीचे दीपक जलाएं और शिवजी का जलाभिषेक करें।
स्वास्थ्य और मानसिक शांति के लिए
- राहु दोष से बचने के लिए हनुमान चालीसा का पाठ करें।
- जरूरतमंद लोगों को गुड़ और काले तिल का दान करें।
16 फरवरी 2025 का पंचांग दर्शाता है कि यह दिन संकष्टी गणेश चतुर्थी व्रत, शुभ कार्यों और धार्मिक अनुष्ठानों के लिए उत्तम है। राहु काल और यमघंटक काल में कोई भी महत्वपूर्ण कार्य न करें। अभिजीत मुहूर्त में किए गए कार्य सफलता दिलाएंगे। यदि आप कानूनी मामलों में सफलता चाहते हैं तो रात्रि 12:09 से 2:46 तक का समय उत्तम रहेगा।
नोट: यह सामग्री केवल मार्गदर्शन और सूचनात्मक उद्देश्यों के लिए प्रदान की गई है। इसे अंतिम निर्णय या जीवन के महत्वपूर्ण निर्णयों का आधार न बनाएं।